दिखावा
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दिखावा करना आसान है
पर इसे निभाना,
मुश्किल बहुत मुश्किल है
ये ऐसा दलदल है
जिसमें हम
फँसते चले जाते हैं
निकलने का कोई रास्ता
नजर नही आता है
हम इसमें खो जाते हैं
इतने अंधे हो जाते हैं
कि हमें अपनों की भी
कोई परवाह नहीं होती
हम रिश्तों को
खोते चले जाते हैं
तन्हा हो जाते हैं
इतने तन्हा कि खुशी गम
बाँटने वाला भी
कोई नहीं होता है
तो जो है,
जैसा है वैसे में ही खुश रहें
आगे बढ़ने के लिये
गलत रास्तों का इस्तेमाल ना करें
नहीं तो जिंदगी नर्क से
बद्त्तर बन जाती है
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गरिमा
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दिखावा करना आसान है
पर इसे निभाना,
मुश्किल बहुत मुश्किल है
ये ऐसा दलदल है
जिसमें हम
फँसते चले जाते हैं
निकलने का कोई रास्ता
नजर नही आता है
हम इसमें खो जाते हैं
इतने अंधे हो जाते हैं
कि हमें अपनों की भी
कोई परवाह नहीं होती
हम रिश्तों को
खोते चले जाते हैं
तन्हा हो जाते हैं
इतने तन्हा कि खुशी गम
बाँटने वाला भी
कोई नहीं होता है
तो जो है,
जैसा है वैसे में ही खुश रहें
आगे बढ़ने के लिये
गलत रास्तों का इस्तेमाल ना करें
नहीं तो जिंदगी नर्क से
बद्त्तर बन जाती है
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